लखनऊ। यूपी विधानसभा के मानसून सीजन के अंतिम दिन विपक्ष और सत्ता के बीच वार और पलटवार देखने को मिले। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अखिलेश के सवालों के जवाब भी दिए और उन पर तीखे हमले भी किए। सीएम ने कहा कि जिन सांड की बात आप कर रहे हैं। यही सांड आपके समय में बूचड़खाने में होते थे। हमारे समय में ये किसान पशुधन का पार्ट बने हैं।
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने खुद को कृष्ण का वंशज बताया था। अखिलेश ने आवारा पशुओं के मुद्दे को जोर से उठाया। उन्होंने सरकार से सवाल किया कि आप इस पर काम क्यों नहीं कर रहे है। क्या आपके पास बजट की कमी है। अगर कुछ नहीं हो सकता है तो कम से कम सांड सफारी ही बना लें। ऐसा कोई जिला नहीं बचा जहां पर सांड से किसी की जान न गई होगी। संभल, मुरादाबाद, चंदौसी, मुरादाबाद, हसनपुर और कितने नाम बताऊं आपको जहां सांड के हमले से जान न गई हैं।
अपने जवाबी भाषण में योगी ने कहा कि आपने तो कावड़ियों को बैन कर दिया था। जन्माष्टमी महोत्सव को बैन कर दिया गया था। जब मैं आया तो मैंने पूछा कि जन्माष्टमी पर क्या कार्यक्रम है। तब बताया गया बैन किया गया है। तब मैंने कहा जन्माष्टमी सभी थानों और जेल में धूमधाम से मनाया जाएगा। सीएम योगी ने कहा कि मुझे आश्चर्य होता है कि कांवड़ यात्रा में पुष्पवर्षा से भी लोगों को दिक्कत हो रही है। आपने इसे भी बैन कर दिया था। हमने सबको सुरक्षा दी और इसे दोबारा प्रारंभ किया।
सांड के मुद्दे पर जवाब देते हुए सीएम योगी ने आगे कहा कि हम तो नंदी के रूप में उसकी पूजा करते हैं। उन्होंने शिवपाल से पूछा, कि क्या आप नंदी के रूप में पूजा नहीं करते। योगी ने कहा कि इनकी परेशानी सांड से नहीं इलीगल स्लाटर हाउस बंद होने से हैं।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अखिलेश यादव के हर सवाल का जवाब देते हुए कहा कि जो लोग जन्म से चांदी के चम्मच में खाने के आदी हैं, वे गरीब की समस्या को क्या समझेंगे? उन्होंने कहा कि ये लोग गरीबों की बात क्या करेंगे? पूर्वांचल में एन्सेफलाइटिस से हजारों बच्चों की जान चली गई। वे बच्चे किसके थे? गरीब, किसान और आपके पीडीए के नहीं थे? आज हमने एन्सेफलाइटिस का समूल नाश कर दिया है। बस औपचारिकता बाकी है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आगे बोलते हुए कहा कि यही वजह है कि आपने 2014, 2017, 2019 और 2022 में हार देखनी पड़ी। अब 2024 में तो आपका खाता भी नहीं खुलेगा।