बहराइच। जिले में शिक्षा स्तर में गुणात्मक सुधार के उद्देश्य से डीएम माला श्रीवास्तव ने विद्यादान अभियान की शुरुआत की है। इसी अभियान के तहत महाविद्यालय के शिक्षकों व छात्र-छात्राओं की सहभागिता सुनिश्चित करने के लिए सोमवार देर शाम कलेक्ट्रेट सभागार में बैठक सम्पन्न हुई।
बैठक में जिलाधिकारी ने महाविद्यालयों के शिक्षकों व छात्र-छात्राओं का आव्हान किया कि विद्यादान कार्यक्रम में अपनी सक्रिय सहभागिता सुनिश्चित करें। जिलाधिकारी ने कहा कि विद्यादान का महत्व किसी भी दशा में रक्तदान से कम नहीं है। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार से हम रक्तदान करके किसी मरते हुए व्यक्ति का जीवन बचा सकते है ठीक इसी तरह से ज़रूरतमन्द व अशिक्षित तथा बच्चों को विद्या का दान करके हम उन्हें व उनके परिवार को बहुत कुछ दे सकते हैं।
डीएम ने शिक्षकों व छात्र-छात्राओं से अपील करी कि अपनी सुविधानुसार परिषदीय विद्यालयों का चयन कर उसकी सूची जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को उपलब्ध करा दें ताकि अग्रिम कार्यवाही हो सके। जिलाधिकारी ने कहा कि वालेन्टियर के रूप में महाविद्यालय के शिक्षकों व छात्र-छात्राओं के परिषदीय स्कूलों में जाने से वहां पर शिक्षा का माहौल बनेगा। वालेन्टियर्स के स्कूल जाने से शिक्षिकों व छात्र-छात्राओं की उपस्थिति में सुधार के साथ-साथ विद्यालयों के लिए गठित की गयी विभिन्न समितियों के पदाधिकारियों व ग्राम प्रधानों में नई ऊर्जा का संचार होगा।
माला श्रीवास्तव ने यह भी सुझाव दिया कि स्कूलों में जाने वाले वालेन्टियर्स जब बच्चों को स्कूली शिक्षा के साथ आचरण, व्यवहार, रहन-सहन, पर्यावरण, प्रकृति, वन्य जीवों तथा उनके नैतिक कर्तव्यों के बारे में जानकारी देने स्कूलों में आने वाले छात्र-छात्राओं में शिक्षा का तो विकास होगा ही साथ ही वह जिम्मेदार नागरिक भी बन सकेंगे। जिलाधिकारी ने बताया कि शीघ्र ही एक दिन सभी लोग एक साथ विद्यादान के लिए स्कूलों में जायेंगे, इससे सम्पूर्ण समाज में अच्छा सन्देश जायेगा।
इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी राहुल पाण्डेय, प्रशिक्षु आईएएस प्रभाष कुमार, मुख्य चिकित्साधिकारी डा एके पाण्डेय, जिला विकास अधिकारी वीरेन्द्र कुमार सिंह, जिला विद्यालय निरीक्षक राजेन्द्र कुमार पाण्डेय, जिला पंचायत राज अधिकारी केबी वर्मा सहित अन्य अधिकारी व महाविद्यालयों के प्रतिनिधिगण मौजूद रहे।