बहराइच। पिछले दो दिनों से विकास खण्ड मिहींपुरवा के कार्यालय पर 86 ग्राम सभा के प्रधान धरने पर हैं। वजह सिर्फ इतनी है कि ग्राम पुरैना अमृतपुर के प्रधान अजय मौर्या व सेक्रेटरी सोहन सिंह पर मुर्तिहा कोतवाली में धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज करा दिया गया है।
क्या है पूरा मामला
दरअसल वर्ष 2011 में प्रधानमंत्री आर्थिक जनगणना के द्वारा बनाई गई सूची में नाम गड़बड़ी के चलते यह मुद्दा उछल रहा है। बताया जा रहा है कि प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण की सूची से आवास का पैसा राम केशवर की पत्नी पूनम के खाते में गया। जबकि राम केशवर के भाई रामकृपाल की पत्नी का नाम भी पूनम है।
बता दें आवास राम केशवर की पत्नी पूनम का ही है लेकिन आवास सूची में पूनम के पति राम केशवर का नाम गलत दर्ज कर दिया गया। इसी गलत नाम का फायदा उठाकर राम केशवर के भाई राम कृपाल ने ग्राम प्रधान अजय मौर्या व सेक्रेटरी सोहन सिंह पर धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज कराया है। राम कृपाल का आरोप है कि प्रधान ने उनके भाई राम केशवर को उनका आवास बेंच दिया है।
अब, प्रधान व सेक्रेटरी पर मुकदमा दर्ज हो चुका है और दोनों लोग न्याय की गुहार लगा रहे हैं। हांलाकि दोनों लोगों के सपोर्ट में पूरी ग्राम सभा के प्रधान उतर आये हैं जिससे उन्हें न्याय मिलने की उम्मीद बढ़ गई है। शनिवार को मिहीपुरवा विकास खण्ड परिसर में प्रधान संघ की अध्यक्ष मायादेवी की अगुवाई में 86 ग्राम पंचायतो के ग्राम प्रधानों ने इकठ्ठा होकर परिसर में ही घरना दिया व सरकारी योजनाओं का क्रियान्वयन न करने की बात कही है। इसके अलावा उन्होंने इस्तीफे की भी चेतावनी दी है।
सभी ग्राम प्रधानों का आरोप है कि इस मामले में ग्राम प्रधान का कोई रोल नही है, खण्ड विकास अधिकारी ने अपनी गलती को छिपाने के लिए प्रधान के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। धरने के दौरान प्रधान संघ की अध्यक्ष मायादेवी ने कहा कि जब तक प्रधान के खिलाफ दर्ज मुकदमा वापस नही होता तब तक विकास खण्ड परिसर में धरना दिया जायेगा तथा जरुरत पड़ी तो सामूहिक इस्तीफा देंगे। हांलाकि प्रधानो का अनशन देर शाम जिलाधिकारी के नाम ज्ञापन देकर समाप्त हो गया।
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