देवरिया। उत्तर प्रदेश के जब देवरिया में जमीन विवाद में खूनी संघर्ष का दहलाने वाला मामला सामने आया है। इस हत्याकांड में 6 लोगो की मौत हो गयी है, मरने वालों में पांच लोग एक ही परिवार के शामिल हैं। एक युवक घायल है जिसे मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया है। गांव में तनाव की स्थिति देखते पुलिस बल के साथ पीएसी को तैनात कर दी गई है।
रूद्रपुर थाना क्षेत्र के फतेहपुर ग्राम पंचायत में सोमवार सुबह 6 बजे प्रेम यादव का शव गली में पड़ा मिला। उनकी गला काटकर हत्या की गई थी। हत्या किसने की यह स्पष्ट नहीं था। लेकिन यादव परिवार का शक सत्य प्रकाश दुबे पर गया। इसकी वजह थी कि प्रेम यादव और सत्य प्रकाश दुबे के बीच जमीन को लेकर विवाद चल रहा था। प्रेम यादव सुबह इसी विवाद के चलते सत्य प्रकाश के घर गए हुए थे। उसके बाद सत्य प्रकाश दुबे के घर से करीब 20 मीटर दूर प्रेम यादव का शव पड़ा मिला। प्रेम यादव के परिजनों ने इस हत्याकांड का बदला लेने की ठानी। उन्होंने सत्य प्रकाश यादव के घर पर हमला बोल दिया।
प्रेम यादव के परिजनों ने लाठी-डंडे, ईंट-पत्थर और बंदूकों के साथ हमला बोला था। सत्य प्रकाश दुबे के पड़ोसी जब तक कुछ समझ पाते उनकी हत्या कर दी गई। इसके बाद हमलावरों ने सत्य प्रकाश की बेटी सलोनी (18) को गोली मारी और चाकू से वार किए। उसकी मौके पर ही मौत हो गई। इसके बाद 10 साल की बेटी नंदनी और 15 साल के बेटे गांधी को भी मार डाला। सबसे आखिर में 8 साल के बेटे अनमोल पर हमला किया। उस पर कई वार किए और उसे मरा समझकर छोड़ गए। उसे गोरखपुर मेडिकल कॉलेज भेजा गया।
घटना की सूचना मिलते ही स्थानीय रुद्रपुर पुलिस में फोर्स पहुंची तब तक हमलावर भाग चुके थे। उसके बाद पुलिस अधीक्षक संकल्प शर्मा एवं जिलाधिकारी अखंड प्रताप सिंह मौके पर पहुंचे। घटनास्थल का जायजा लिया। घटना की सूचना मिलते ही आसपास के गांव के हजारों लोग घटनास्थल पर पहुंच गए। गांव के चारों तरफ पुलिस फोर्स तैनात कर दी गई है।
घटना की संवेदनशीलता को देखते हुए सीएम योगी ने लखनऊ से प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद और स्पेशल डीजी प्रशांत कुमार को मौके पर भेजा। संजय प्रसाद ने कहा है कि इस मामले में अफसरों की लापरवाही की जांच की जा रही है। किसी को भी बक्शा नहीं जाएगा। जो भी जिम्मेदार होगा। उस पर एक्शन लिया जाएगा। वहीं, प्रशांत कुमार ने बताया कि 14 लोग हिरासत में लिए गए हैं। उनसे पूछताछ की जा रही है।
भीड़ देखती रही…बचाने की हिम्मत नहीं की
ग्रामीणों ने बताया कि हमलावर इतने अक्रामक थे कि किसी की सत्य प्रकाश के परिवार को बचाने की हिम्मत नहीं हुई। हमलावर लगातार फायरिंग कर रहे थे और धारदार हथियारों के साथ लगातार लोगों को धमका रहे थे। हालात यह थे कि घर के बाहर भीड़ तो थी, लेकिन कोई बचाने आगे नहीं आया। बताया जा रहा है कि 20-25 मिनट के अंदर ही इस पूरे हत्याकांड को अंजाम दिया गया।
सत्यप्रकाश का बड़ा बेटा घर पर नहीं था
प्रेम यादव के घर वालों ने जब सत्य प्रकाश के घर पर हमला किया तो उनका सबसे बड़ा बेटा देवेश घर पर नहीं था, इसलिए जिंदा बच गया। क्योंकि, घटना के समय वह घर में मौजूद नहीं था। देवेश पूजा-पाठ कराता है। वह कर्मकांड कराने सुबह ही घर से निकल गया था। जबकि, सत्यप्रकाश की सबसे बड़ी बेटी की दो साल पहले शादी हो चुकी है। घटना के वक्त बेटी भी अपने ससुराल में थी।