बहराइच। प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ रविवार शाम बहराइच पहुंचे। उन्होंने भेड़ियों के हमलों से प्रभावित महसी तहसील का हवाई निरीक्षण किया। उन्होंने कहा कि आमजन की सुरक्षा हमारी पहली प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि अगर आदमखोर भेड़िए ने हमला किया तो शूटर उसे शूट करने से भी नहीं चूकेंगे लेकिन पहली प्राथमिकता उसे सुरक्षित पकड़ना है।
मुख्यमंत्री रविवार को भेड़िया प्रभावित बहराइच की महसी तहसील के ग्राम सिसैया चूड़ामणि पहुंचे थे। उन्होंने प्रभावित क्षेत्र का हवाई सर्वे किया फिर भेड़िए के हमले में जान गंवाने वाले आठ बच्चों के परिजनों से मुलाकात की। सीएम ने सिसईया चूड़ामणि गांव में 27 पीड़ित परिवारों को गिफ्ट दिए। बच्चों को चाकलेट खिलाया। योगी ने एक बच्ची को गोद में उठा लिया। चाकलेट देकर उसे दुलारते नजर आए। सीएम ने 75 साल की मखाना देवी से भी मुलाकात की। मखाना भेड़िए के हमले में घायल हुई थीं। सीएम योगी ने कहा कि हमारी सरकार ने मानव वन्य जीव संघर्ष को आपदा की श्रेणी में रखा है। जनहानि पर पीड़ित परिवार को तत्काल पांच लाख रुपये की सहायता उपलब्ध कराते हैं। जंगली जानवरों के हमले में घायलों के लिए एंटी रैबीज वैनम उपलब्ध कराई गई है। सीएम योगी ने कहा कि आमजन की सुरक्षा के लिए यहां वन विभाग की 165 लोगों की 25 टीम तैनात है। 4 थर्मल ड्रोन लगाए गए हैं। पहली प्राथमिकता भेड़िए को रेस्क्यू करने की है। यदि उसकी हिंसक गतिविधियां बढ़ीं या उसने जनहानि का प्रयास किया तो उसे शूट करने के भी आदेश दिए गए हैं। यह अंतिम विकल्प है, इससे पहले अन्य विकल्पों पर भी कार्य किया जा रहा है।
सीएम ने कहा कि हमने केंद्र सरकार के सहयोग से 56 लाख गरीबों को आवास उपलब्ध कराया है। कुछ लोग गर्मी के कारण घर के बाहर सोते हैं, उसमें ही जंगली जानवर को अवसर मिलता है। जिन लोगों ने दरवाजे नहीं लगवाए थे। उनकी भी मदद की गई है। स्वच्छ भारत मिशन में हर परिवार को शौचालय दिए गए। इस क्षेत्र में पेट्रोलिंग के निर्देश हैं। अफसरों से कहा है कि यदि कोई व्यक्ति आवास से वंचित है, तो मुख्यमंत्री आवास योजना से आवास दिए जाएं। मैंने इन गांवों का सर्वे किया है। जनजीवन सामान्य है। लेकिन, सतर्कता की आवश्यकता है। जब तक भेड़िया पकड़ा नहीं जाता है, वन विभाग की टीम तैनात रहेगी।
‘ऑपरेशन भेड़िया’ की समीक्षा
मुख्यमंत्री ने परिजनों से मिलने के बाद ऑपरेशन भेड़िया की समीक्षा भी की। प्रशासन, पुलिस व वन विभाग की ओर से उठाए जा रहे कदमों की बिंदुवार समीक्षा की। डीएम मोनिका रानी ने सीएम को बताया कि सुरक्षा के लिए पीएएसी तैनात की गई है। आवास विहीन परिवारों को स्कूलों में रखा गया है। ग्रामीणों को जागरूक करने का काम चल रहा है। मुख्य वन संरक्षिक रेणु सिंह ने बताया कि तीन सेक्टरों में पूरे क्षेत्र को बांट कर तीन डीएफओ के नेतृत्व में सर्च अभियान चलाया जा रहा है। इस दौरान वन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डॉ. अरुण कुमार सक्सेना, वन राज्यमंत्री केपी मलिक, बहराइच सांसद आनंद कुमार गोड़, विधायक सुरेश्वर सिंह, सुभाष त्रिपाठी, अनुपमा जायसवाल, सरोज सोनकर, रामनिवास वर्मा, विधान परिषद सदस्य पद्मसेन चौधरी, प्रज्ञा त्रिपाठी आदि की मौजूदगी रही।