मिहींपुरवा। तहसील क्षेत्र बाढ़ की मार झेल रहे पीड़ितों लोगों ने एसडीएम द्वारा अपात्रों को राहत सामग्री वितरित करने का आरोप लगाते हुए जमकर प्रदर्शन किया। काफी संख्या में लोगों ने बहराइच-लखीमपुर हाईवे पर भी जाम लगा दिया। मौके पर पहुंचे सांसद अक्षयवर लाल गोंड ने इसकी शिकायत डीएम डॉ. दिनेश चंद्र से की। डीएम ने एडीएम को जांच के लिए मौके पर भेजने के निर्देश दिए हैं।
मिहींपुरवा तहसील में घाघरा, सरयू, कौड़ियाला व गेरुआ नदी के उफान से 30 ग्राम पंचायतें बाढ़ में डूबी हैं। एक लाख से अधिक आबादी ने बाढ़ की विभीषिका झेली है। ग्राम सभा कुड़वा के मजरा चमारनपुरवा में बलहा विधायक प्रतिनिधि आलोक कुमार जिंदल, एसडीएम ज्ञान प्रकाश त्रिपाठी समेत अन्य लोगों की मौजूदगी में रविवार को राहत सामग्री वितरण किया गया था। जिसमें ग्राम सभा परवानी गौढ़ी, मिहींपुरवा कस्बा, टीचर्स कॉलोनी व गुलालपुरवा के लोगों ने राहत सामग्री प्राप्त की थी। सोमवार को बाढ़ग्रस्त क्षेत्र के पीड़ितों ने तहसील मुख्यालय के निकट स्थित गल्ला मंडी परिसर में एकत्र होकर विरोध प्रदर्शन किया। इस अवसर पर उन्होंने एसडीएम के विरुद्ध नारेबाजी भी की।
ग्रामीणों ने कहा कि बाढ़ में घर में रखा अनाज बह गया है। ऊंचे स्थानों पर मवेशियों के साथ रुके हुए हैं। बच्चे व बड़े भूख-प्यास से तड़प रहे हैं। लेकिन राहत सामग्री न देकर कस्बे में रहने वाले लोगों को बांटी जा रही है।
इसके बाद सांसद अक्षयवर लाल गोंड ग्रामीणों के साथ एसडीएम के पास पहुंचे। जहां उन्होंने एसडीएम ज्ञान प्रकाश से इस संबंध में पूछताछ की। सांसद के ओर से किए गए सवालों से एसडीएम असहज नजर आए। इस पर सांसद ने डीएम से फोन कर अपनी शिकायत दर्ज कराई। सांसद की शिकायत पर डीएम ने एडीएम मनोज को जांच के लिए मौके पर भेजने का आश्वासन दिया है। इसके साथ ही एडीएम ने सभी बाढ़ पीड़ितों तक राहत सामग्री पहुंचाने की बात कही। एडीएम के आश्वासन के बाद बाढ़ पीड़ितों ने अपना प्रदर्शन खत्म किया।